Kishtwar Anti-Terrorist Operation: जम्मू-कश्मीर के किश्तवाड़ जिले में एक काउंटर-टेरर ऑपरेशन के दौरान एक भारतीय सैनिक शहीद हो गए और तीन अन्य घायल हो गए। सेना की 16 कोर ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म “एक्स” पर पोस्ट में शहीद की पहचान जूनियर कमीशंड अधिकारी (जेसीओ) नायब सूबेदार राकेश कुमार के रूप में की।
राकेश कुमार, 2 पैरा (स्पेशल फोर्सेज) से थे, और वे इस Kishtwar Anti-Terrorist Operation का हिस्सा थे, जो किश्तवाड़ के भर्ट रिज में आतंकवादियों को पकड़ने के लिए शुरू किया गया था। यह मुठभेड़ उस समय हुई जब सेना और पुलिस के संयुक्त खोज दल ने आतंकवादियों को जंगल में घेर लिया, जो हाल ही में दो ग्रामीण रक्षा गार्ड्स (वीडीजी) की हत्या के लिए जिम्मेदार माने जा रहे थे।
आतंकवादियों का पीछा और Kishtwar Anti-Terrorist Operation की शुरुआत
पिछले गुरुवार को आतंकवादियों ने किश्तवाड़ के कुंटवाड़ा क्षेत्र में दो वीजीडी – नजीर अहमद और कुलदीप कुमार – को अगवा कर उनकी हत्या कर दी थी। उनके शव ओहली कुंटवाड़ा में गोलियों से छलनी हालत में पाए गए थे। इन हत्याओं के बाद, सेना और विशेष बलों ने आतंकवादियों को पकड़ने के लिए अभियान तेज कर दिया था। रविवार सुबह विशिष्ट खुफिया सूचना के आधार पर किश्तवाड़ के भर्ट रिज क्षेत्र में एक संयुक्त Kishtwar Anti-Terrorist Operation शुरू किया गया। जैसे ही सुरक्षा बलों ने आतंकवादियों से संपर्क साधा, एक घातक गोलीबारी शुरू हो गई।
शहीद का सम्मान और घायल सैनिकों की स्थिति
Kishtwar Anti-Terrorist Operation में नायब सूबेदार राकेश कुमार वीरगति को प्राप्त हुए। सेना की व्हाइट नाइट कोर ने अपने पोस्ट में लिखा, “व्हाइट नाइट कोर के जीओसी और सभी रैंक नायब सूबेदार राकेश कुमार की सर्वोच्च शहादत को सलाम करते हैं। हम इस दुख की घड़ी में उनके परिवार के साथ हैं।” मुठभेड़ में तीन अन्य सैनिक घायल हुए, जिनमें से दो की स्थिति गंभीर बताई जा रही है। गंभीर रूप से घायल सैनिकों को सेना के हेलिकॉप्टर द्वारा उधमपुर के कमांड अस्पताल में ले जाया गया।
आतंकवादी संगठन और मुठभेड़ की स्थिति
किश्तवाड़ में सक्रिय आतंकवादी समूह जैश-ए-मोहम्मद से जुड़े बताए जा रहे हैं, जिनकी संख्या तीन से चार हो सकती है। खुफिया एजेंसियों के अनुसार, मुठभेड़ के दौरान आतंकवादी घात लगाकर भाग निकले थे, लेकिन उन्हें पकड़ने के लिए क्षेत्र में अतिरिक्त बलों को तैनात किया गया है। गिडरी टॉप, जो किश्तवाड़ जिले के छास के पास कुंतवाड़ा और केशवां के बीच स्थित है, मुठभेड़ का प्रमुख स्थल था। यह क्षेत्र पहाड़ों की कठिन चढ़ाई वाला है, जहां तक पहुंचना भी चुनौतीपूर्ण है।
स्थानीय प्रतिक्रिया और सुरक्षा व्यवस्था
आतंकवादियों द्वारा वीजीडी की हत्या से स्थानीय समुदाय में आक्रोश और भय का माहौल है। शनिवार को नजीर अहमद और कुलदीप कुमार के पार्थिव शरीर को उनके गांव ओहली कुंतवाड़ा में पूरे सम्मान के साथ दफनाया और अंतिम संस्कार किया गया। सेना और पुलिस की मौजूदगी में सुरक्षा कड़ी कर दी गई है। सेना ने Kishtwar Anti-Terrorist Operation में अपने हेलिकॉप्टर और ड्रोन भी तैनात किए हैं ताकि किसी भी संभावित भागने के मार्ग को रोका जा सके।
लगातार हो रहे हमले और क्षेत्र की सुरक्षा चुनौती
जम्मू क्षेत्र में इस साल 18 सुरक्षा कर्मी, 10 नागरिक और तीन वीजीडी अलग-अलग आतंकवादी हमलों में मारे गए हैं। इसके बावजूद, सुरक्षा बलों ने भी कई आतंकवादियों को ढेर किया है, जिसमें अब तक 13 आतंकवादी मारे गए हैं। किश्तवाड़ में लगातार होती हिंसक घटनाएं सुरक्षा बलों के लिए बड़ी चुनौती पेश कर रही हैं।
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